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वाराणसी में डिप्टी सीएमः कहा चार साल में 22 लाख करोड़ की अर्थव्यवस्था

वाराणसी। प्रदेश के उपमुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा शनिवार को एक दिवसीय दौरे पर वाराणसी पहुंचे। वह सुबह करीब 11 बजे काशी विश्वनाथ दरबार पहुंचे। दर्शन-पूजन करने के बाद निर्माणाधीन काशी विश्वनाथ धाम का अवलोकन किया। इसके बाद वह सर्किट हाउस पहुंच गए। यहां उन्होंने प्रशासनिक अधिकारियों और मंत्रियों के साथ बैठक की। साथ ही मीडिया कर्मियों से वार्ता की।
उप मुख्यमंत्री डॉ. दिनेश शर्मा ने विपक्षी दलों और उनके नेताओं का नाम लिए बगैर उन पर निशाना साधा। डॉ. शर्मा ने कहा कि घर में बैठ कर ट्वीट करना और वास्तव में धरातल पर जाकर इंतजाम करने में बहुत अंतर होता है। यदि व्यवस्था करने के बारे में किसी को सीखना है तो वह हमारे मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और हमारी सरकार से सीख कर प्रेरणा लें। उन्होंने कहा कि मैं उन लोगों का नाम नहीं ले रहा हूं लेकिन उनकी जो बारंबार हार हो रही है। उससे वह अभी भी सीख नहीं ले रहे हैं। सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव ने हाल ही में कहा था कि उत्तर प्रदेश की भाजपा सरकार सिर्फ अपने प्रचार-प्रसार में व्यस्त है। इस पर डॉ. शर्मा ने कहा कि विपक्षी दलों के नेताओं में हताशा है। विकास कार्यों के बारे में विपक्ष का कोई नेता कुछ कह नहीं सकता है। उनके पास आरोप लगाने का कोई विकल्प नहीं बचा है। इसलिए लोग अपने कामों की तुलना नहीं करते हैं। प्रदेश सरकार जिस तरह से जनसेवा के साथ ही सामाजिक कार्य और आधारभूत संरचना पर ध्यान देने के अलावा स्वास्थ्य, शिक्षा और लॉ एंड ऑर्डर को लेकर काम कर रही है। उससे विपक्ष में हताशा है। हालांकि जनता प्रसन्न है। कोरोना की संभावित तीसरी लहर के बाद भी स्कूल फिर खुल गए हैं। कई जगह से सूचना है कि बच्चों की मौत भी हो रही है। मंत्री ने कहा कि एक भी मौत कहीं भी हो। वह हमारे लिए बेहद ही दुखदायी है। बच्चों की सुरक्षा हमारी प्राथमिकता है। अगर कहीं ऐसा लगेगा कि बच्चों की सुरक्षा के लिए खतरा है तो उस पर तत्काल गंभीरता से विचार कर उचित और प्रभावी निर्णय लिया जाएगा।
डॉ. शर्मा ने कहा कि यूपी सरकार ने प्रदेश की शिक्षा व्यवस्था को नया आयाम दिया है। प्रदेश की नई शिक्षण व्यवस्था अन्य राज्यों को अब राह दिखाने का काम कर रही है। पिछली सरकार से विरासत में मिले खस्ताहाल शिक्षा तंत्र में लाए गए बदलाव अब विद्यार्थियों के लिए तरक्की के नए द्वार खोल रहे हैं। यह बदलाव पिछले साढ़े चार साल में सही मंशा से किए गए कार्यों का परिणाम है। उप मुख्यमंत्री ने कहा कि वर्तमान सरकार ने शिक्षकों के कल्याण के लिए तमाम कार्य किए हैं। सरकार का मानना है कि शिक्षक जब सुखी होगा तो वह बेहतर तरह से शिक्षण कार्य कर सकेगा। इसलिए सरकार ने शिक्षा क्षेत्र परिवर्तनों में अहम भूमिका निभाने वाले शिक्षकों की हर परेशानी को दूर करने के उपाय किए है। पूर्व की सरकारों में सेवानिवृत्ति के बाद अपने अवशेषों के लिए शिक्षकों को कार्यालयों के चक्कर लगाने पड़ते थे। पर वर्तमान सरकार ने इस परेशानी से मुक्ति दिलाई है। अब शिक्षक को सेवानिवृत्ति के दिन ही सभी प्रकार के अवशेष प्राप्त हो जाते हैं। वर्तमान सरकार ने तबादलों की ऑनलाइन व्यवस्था बनाई है। पूरे देश में सबसे कम कीमत पर एनसीईआरटी की पुस्तकें केवल यूपी में उपलब्ध हैं। अभी हाल ही में डिजिटल लाइब्रेरी भी बनाई गई है जिसमें 90 हजार से अधिक सामग्री उपलब्ध है। चार वर्ष में ही 11 लाख करोड़ रुपए की अर्थव्यवस्था 22 लाख करोड़ रुपए की अर्थव्यवस्था बन गई है। सूबे में प्रति व्यक्ति आय दोगुनी हो गई है। हर क्षेत्र में उत्तर प्रदेश का डंका बज रहा है। देश में 44 योजनाओं में यूपी पहले स्थान पर है। कोरोना जैसे समय में भी प्रदेश में 56 हजार करोड़ के निवेश प्रस्ताव मिले हैं। देश का सबसे बडा गंगा एक्सप्रेस-वे सूबे में बनने जा रहा है। इसके बनने के बाद करीब 20 हजार लोगों के लिए रोजगार सृजन की संभावना है। कोविड अभी समाप्त नहीं हुआ है इसलिए सुरक्षा बहुत जरूरी है। अभी तक कुल 7 करोड़ 41 लाख 60 हजार 528 वैक्सीन डोज लगाई जा चुकी हैं। सरकार के कोविड से सुरक्षा के प्रयासों का परिणाम है कि आज प्रदेश के 27 जिलों में कोविड को एक भी केस नहीं है।

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