
वाराणसी : आज गंगा दशहरा है। बाबा विश्वनाथ की नगरी काशी में गंगा तट पर सुबह से ही आस्था परवान चढ़ रही है। दिन चढ़ने के साथ ही गंगा की गोद में पुण्य की डुबकी लगाने वालों रेला काशी के सभी घाटों पर उमड़ पड़ा है। ऐसी मान्यता है कि गंगा आज ही के दिन धरती पर अवतरित हुई थीं। वहीं श्रद्धालु सुबह से ही गंगा में डुबकी लगाकर दान पुण्य कर माँ गंगा का आशीर्वाद ले रहे हैं।
गंगा दशहरा के मौके पर आज शिव की नगरी काशी में उत्सव जैसा माहौल है। दशाश्वमेध घाट समेत अन्य घाटों पर आस्था की डुबकी लगाने के लिए देश के कोने-कोने से आस्थावानों का रेला उमड़ा है। वहीं, गंगा दशहरा को देखते हुए काशी के घाटों पर पुलिस के साथ ही जल पुलिस के जवान तैनात किए गए हैं।
पौराणिक मान्यता के अनुसार हस्त नक्षत्र में ज्येष्ठ मास के शुक्ल पक्ष की पूर्वाह्न व्यापिनी दशमी तिथि पर ही राजा भगीरथ की तपस्या से प्रसन्न होकर मां गंगा का स्वर्ग से धरती पर अवतरण हुआ था। यही कारण है कि आज गंगा स्नान का बड़ा महत्व है। आधी रात के बाद से ही देश के कोने-कोने से स्नानार्थियों की भीड़ गंगा किनारे पहुंचने लगी थी। दशाश्वमेध घाट समेत अन्य घाटों पर संतों, भक्तों के डेरे जहां-तहां पड़े हुए थे। भोर में ही घंट-घड़ियाल की गूंज के साथ स्नान आरंभ हो गया।